Friday, March 8, 2019

बालाकोट के बदले का प्लान ऐसे किया भारतीय वायुसेना ने नाकाम !

बालाकोट में आतंकी संगठन, जैश‌ ए मोहम्मद के ट्रैनिंग कैंप पर हुई भारत की एयर-स्ट्राइक से पाकिस्तान बौखला गया था। हालांकि, पाकि‌स्तान आधिकारिक तौर से इस एयर-स्ट्राइक का माखौल उड़ा रहा था‌ लेकिन अंदर ही अंदर वो भारतीय‌ वायुसेना के हमले के बदले कश्मीर‌ में भारत‌ के सैन्य-ठिकानों और एयरबेस पर हमला करने की साजिश रच रहा था, ताकि कश्मीर का संपर्क भारत से टूट जाए। लेकिन वायुसेना की सतर्कता के चलते पाकि‌स्तान की ये नापाक साजिश नाकाम हो गई है।



सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, 27 फरवरी को पाकिस्तानी वायुसेना के हमले की‌‌ साजिश की पूरी जानकारी अब सामने आ रही है। सूत्रों के मुताबिक, पाकिस्तानी वायुसेना के जो 24 लड़ाकू विमान एलओसी पार कर नौसेरा, राजौरी और सुंदरबनी इलाकों में घुसे थे उनका मकसद कश्मीर में श्रीनगर और अवंतिपुरा एयरबेस पर हमला करना था। ये दोनों एयरबेस कश्मीर घाटी की लाइफ-लाइन हैं। इनदोनों एयरबेस से ही‌ वायुसेना पूरी कश्मीर घाटी की सुरक्षा करती है। श्रीनगर एयरबेस‌ पर ही सिविल एयरपोर्ट भी है। 

उच्चपदस्थ सूत्रों ने ये भी बताया कि भारत के दो एयरबेस पर हमला करने के साथ साथ पाकिस्तानी वायुसेना के निशाने पर उरी और तंगधार के सैन्य ठिकाने भी थे. इसके अलावा पीर पंजाल पहाडों के दक्षिण यानि जम्मू-रिजन केकृष्णा घाटी सेक्टर में भारतीय सेना की 120वीं ब्रिगेड का मुख्यालय और एक बड़े गोला-बारूद डंप यानि स्टोर पर पाकिस्तानी फाइटर जेट्स हमला करना चाहते थे.


सूत्रों की मानें तो इस साजिश के लिए पाकिस्तानी वायुसेना ने भारत के फाइटर जेट्स को उलझाने के लिए‌ अपने 10-12 लड़ाकू विमानों को राजस्थान के अनूपगढ़ सेक्टर में घुसपैठ कराई। उस वक्त भारतीय‌ वायुसेना के जो फाइटर जेट्स भारत की एयक-स्पेस में कॉम्बेट एयर पैट्रोल कर रहे थे‌ उन्हें तुरंत राजस्थान भेजा गया डॉगफाइट के लिए। इसके अलावा सभी फॉरवर्ड एयर बेस से फाइटर जेट्स को 'स्क्रैमबल' किया गया।‌ भारतीय वायुसेना के जब अधिकतर  एयरक्राफ्ट्स को राजस्थान सेक्टर में भेजा तो पाकिस्तान के 24 लड़ाकू विमानों का पैकेज एलओसी पार कर नौसेरा, सुंदरबनी और राजौरी सेक्टर में पहुंच गए. लेकिन उस वक्त भारतीय वायुसेना के 06 लड़ाकू विमान इस सेक्टर में एयर कॉम्बेट पैट्रोलिंग पर थे यानि हवा में गश्त लगा रहे थे. इनमें दो मिग-21 बाईसन, दो मिग-29 और दो सुखोई विमान शामिल थे. एक मिग-21 बाईसन को विंग कमांडर अभिनंदन उड़ा रहे थे. अभिनंदन ने श्रीनगर एयरबेस से ही इस मिशन के लिए उड़ान भरी थी. 

जानकारी के मुताबिक, इन छह लड़ाकू विमानों ने ही पाकिस्तान के इतने बड़े हमले को नाकाम कर दिया. इन छह विमानों ने पाकिस्तान के किसी भी लड़ाकू विमान कोे एलओसी से ज्यादा दूर तक नहीं जाने दिया, नतीजा ये हुआ कि विंग कमांडर अभिनंदन के एयरक्राफ्ट को दो एप-16 विमानो ने घेर लिया. एक अभिनंदन के आगे था और एक पीछे.
लेकिन इस डॉगफाइट में विंग कमांडर अभिनंदन ने 60 डिग्री पर एक डाइव लगाई और उन दोनों के पीछे जा पहुंचे. विंग कमांडर अभिनंदन जब इन दोनों एफ-16 को चेज़ कर रहे थे तो एटीसी से उन्हें गो-कोल्ड यानि उनपर हमला ना करने का निर्देश भी दिया गया था. लेकिन तबतक अभिनंदन ने अपनी आर-73 मिसाइल को पाकिस्तान के एक एफ-16 पर लॉक कर दी थी. मिसाइल लॉक के वक्त उनके लिए पीछे लौटना बेहद मुश्किल था. इसलिए बेहद ही नजदीक से अभिनंदन के मिग-21 बाईसन एयरक्राफ्ट ने पाकिस्तान के एफ-16 विमान पर मिसाइल फायर कर दी. इस हमले में पाकिस्तान का एफ-16 धराशायी हो गया. आपको बता दें कि आर-73 मिसाइल की रेंज करीब पांच किलोमीटर होती है. 

विंग कमांडर अभिनंदन के साथ साथ उनके मिशन में शामिल एक सुखोई विमान ने भी पाकिस्तान के एफ-16 विमान से फायर हुई एमराम मिसाइल को 'डिफीट' कर दिया.

एक एफ-16 विमान गिरने और एमराम जैसी मिसाइल के नाकाम होने पर पाकिस्तानी वायुसेना में खलबली मच गई और बाकी विमान वापस पाकिस्तान की सीमा में लौट गए. लेकिन इस दौरान विंग कमांडर अभिनंदन का मिग-21 बाईसन एलओसी पार कर पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर यानि पीओके पहुंच गया. जैसे ही उनका विमान पीओके के भिंबर इलाके में पहुंचा तो पाकिस्तान की एयर-डिफेंस मिसाइल एक्टिव हो गईं और उनके विमान को फायर कर क्षतिग्रस्त कर दिया गया. इसके बाद विंग कमांडर अभिनंदन पैराशूट के जरिए पीओके में दाखिल हो गए. बाद में पाकिस्तानी सेना ने उन्हें बंदी बना लिया. लेकिन उनकी और उनके मिशन में शामिल बाकी लड़ाकू विमानों ने पाकिस्तानी वायुसेना के एक बड़े हमले को नाकाम कर दिया.

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